Wednesday 9 January 2019

प्रश्न - *दी, प्रणाम! मैं शरीर से दुबला हूँ, शाकाहारी हूँ, लेकिन कुछ दोस्त मुझे नॉनवेज खाने के लिए प्रेरित करते हैं, लेक़िन मैं उनकी बात नहीं मानता हूँ क्योंकि गायत्री साधना में आहार शुद्धि चाहिए। मेरा मार्गदर्शन करें कि शाकाहारी रहते हुए मैं मोटा हो जाऊँ।*

प्रश्न - *दी, प्रणाम! मैं शरीर से दुबला हूँ, शाकाहारी हूँ, लेकिन कुछ दोस्त मुझे नॉनवेज खाने के लिए प्रेरित करते हैं, लेक़िन मैं उनकी बात नहीं मानता हूँ क्योंकि गायत्री साधना में आहार शुद्धि चाहिए। मेरा मार्गदर्शन करें कि शाकाहारी रहते हुए मैं मोटा हो जाऊँ।*

उत्तर - आत्मीय बेटे, तुम युवाओं को ग़लत सलाह सर्वत्र आपके दोस्त मुफ़्त में देते हैं। जैसे टेंशन हो रही हैं- नशा कर लो, दुबले पतले हो- नॉनवेज खा लो, मन अच्छा नहीं- चलो फ़िल्म देख लो इत्यादि इत्यादि।

बेटे, मूवी देखने और नशा करने से गम कुछ क्षण भूला जाता है, नशे से समस्या का समाधान नहीं होता। इसीतरह नॉनवेज खाने से सेहत नहीं बनती बल्कि रोगों की शरीर में एंट्री होती है।

बेटे दुबले होने के कई कारण होते हैं, जिनमें मानसिक अवसाद मुख्य है।

इसे समझने के लिए कहानी सुनो,  *अकबर ने दरबार मे पूँछा स्वस्थ मोटे होने के लिए क्या ज़रूरी है?*
सभी दरबारियों ने अच्छा भोजन कहा लेकिन केवल *बीरबल ने कहा- मानसिक निश्चिंतता और चैन की नींद*। अकबर ने कहा सिद्ध करके दिखाओ। प्रयोग हेतु दो बकरी एक ही माँ की जनी चुनी गई। शाही कोष से एक के उत्तम चारे की व्यवस्था की गई। बीरबल ने एक कसाई को पैसे दिए और बोला तुम केवल बकरी के समक्ष अपना काम करते रहो और उसे बीच बीच में डराते रहो।शाही नौकर बकरी को खूब खिलाते और देखरेख करते। कई महीनों बाद भी बकरी मोटी नहीं हुई। क्योंकि कसाई की उपस्थिति और डराने के कारण कभी बकरी निश्चित न रह सकी, प्रत्येक वक़्त भय के कारण न सेहत बनी और न मोटी हुई।

दूसरी बकरी साधारण चारे को ख़ाकर भी मोटी हो गयी। क्योंकि वो दिन भर चैन से खेलती कूदती और खाती।

तो इससे यह सिद्ध हुआ कि तुम ज्यादा विचारशील हो, और अपने कैरियर को लेकर चिंतित हो। जिस दिन मनचाही जॉब और आर्थिक स्थिति मिल जाएगी। मानसिक निश्चिंतता आते ही साधारण दाल का पानी और रोटी भी तुम्हें हृष्टपुष्ट और सेहतमंद बना देगा।

👉🏼 *मानसिक रूप से स्वस्थ-सन्तुलित और शारिरिक रूप से हृष्टपुष्ट एवं सेहतमंद बनने के उपाय*

1- नित्य नहाने के बाद गायत्री जप करो और उगते हुए सूर्य का ध्यान सुबह करो। रात को सोते वक़्त गायत्री मंत्र जपते हुए और पूर्णिमा के चाँद का हृदय में ध्यान करते हुए सो जाओ। योग-प्राणायाम करो।

2- समय प्रबंधन अपनाओ कार्य को व्यवस्थित ऐसे करो कि उसके लिए तनाव न उपजे।

3- कुछ साहित्य गुरुदेव के पढो जो मानसिक स्वास्थ्य पर आधारित हैं:-

- मानसिक संतुलन
- प्रबन्धव्यवस्था एक विभूति एक कौशल
- व्यवस्था बुद्धि की गरिमा
- शक्तिवान बनिये
- दृष्टिकोण ठीक रखिये
- हारिये न हिम्मत

4- कम्पटीशन की तैयारी कर रहे बच्चो की दिनचर्या कैसी हो, उस पोस्ट को तुमने पढ़ा था? वही दिनचर्या अपनाओ और आनन्दित रहो।

5- कुछ औषधीय प्रयोग वैद्य के परामर्श से लो, अमृता(गिलोय) के फ़ायदे तो पुरानी पोस्ट में बताया था। इसका सेवन मनुष्य के अंदर रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाता है। सरस्वती पंचक वटी दिमाग़ी स्वास्थ्य के लिए उत्तम टॉनिक है। अश्वगंधा मानसिक अवसाद दूर करता है:-

*अश्वगंधा के चमत्कारिक फायदे* -
📍*इम्युन सिस्टमः*
अश्वगंधा में मौजूद ऑक्सीडेंट आपके इम्युन सिस्टम को मजबूत बनाने का काम करता है. जो आपको सर्दी-जुकाम जैसी बीमारियों से लडने की शक्ति प्रदान करता है. अश्वगंधा वाइट ब्लड सेल्स और रेड ब्लड सेल्स दोनों को बढ़ाने का काम करता है. जो कई गंभीर शारीरिक समस्याओं में लाभदायक है.

📍 *स्ट्रेस - मानसिक तनावः*
अश्वगंधा मानसिक तनाव जैसी गंभीर समस्या को ठीक करने में लाभदायक है. एक रिर्पोट के अनुसार तनाव को 70 फिसदी तक अश्वगंधा के इस्तेमाल से कम किया जा सकता है. दरअसल आपके शरीर और मानसिक संतुलन को ठीक रखने में असरकारी है. इससे अच्छी नींद आती है.अश्वगंधा कई सम्स्याओं से छुटकारा दिलाने का काम कर सकता है।

गुरुदेव के लिखे वांगमय *जीवेम शरदः शतम* में इसके कई अन्य फ़ायदे भी लिखे है। अपना एक बार चिकित्सक से जांच करवाने के बाद ही उसकी सलाह से अमृता और अश्वगंधा शुरू करना। युगतीर्थ शान्तिकुंज हरिद्वार जाओ, वहाँ फ्री चिकित्सा परामर्श मिलता है। साथ ही वहां की साहित्य स्टाल के साथ लगे फ़ार्मेसी से अमृता वटी, अश्वगंधा वटी और सरस्वती पंचक वटी ले आओ। मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य बढ़ाओ।

🙏🏻 बेटा, बाज़ार से खड़ी मूंग, मूँगफली, चने इत्यादि ख़रीदो। रोज रोज थोड़ा थोड़ा एक बर्तन में पानी डालकर भिगो दो, सुबह उससे पानी निकाल दो। एक बड़ी कटोरी में थोड़ा सा पानी रख लो और ऊपर बड़ी चाय की छन्नी में वही भीगे हुए आइटम डाल दो। पानी की वाष्प ऊपर उन्हें मिलती रहेगी, दूसरे दिन अंकुरित हो जाने पर काला नमक और काली मिर्च डालकर खा लो। अंकुरित अनाज के फायदे यूट्यूब पर सर्च कर लो मिल जाएंगे।

थोड़ा देशी गुड़ और घी रोज खाओ। दूध के साथ हल्दी मिलाकर पियो। नित्य स्वास्थ्यकर आहार खाओ, कोई न कोई एक मौसमी फल रोज खाओ।

बस इतना काफ़ी है उत्तम स्वास्थ्य के लिए, आनन्दित रहोगे। यह खानपान देशी शाकाहारी पहलवानों का बताया है।

रोज यूट्यूब पर श्रद्धेय डॉक्टर साहब के वीडियो से ध्यान सीख सकते हो। संदीप माहेश्वरी के वीडियो से मोटिवेट हो सकते हो। अकबर बीरबल या तेनालीराम के यूट्यूब पर रोज एक कार्टून देखकर बीरबल-तेनालीराम जैसी चतुरता सीख सकते हो। महापुरुषों के जीवनचरित्र पढ़कर उनसे प्रेरणा ले सकते हो।

👉🏼फ़िल्मे देखने और मृत पशु की लाश अर्थात नॉनवेज खाने से जीवन ऊर्जा घटती है और शरीर रोगों का घर बनता है।

👉🏼नित्य उपासना करने और अंकुरित अनाज खाने से जीवन ऊर्जा बढ़ती है और शरीर मजबूत होता है और चेहरे की कांति बढ़ती है।

🙏🏻श्वेता चक्रवर्ती
डिवाइन इंडिया यूथ असोसिएशन

1 comment:

  1. बहुत अच्छा पोस्ट धन्यवाद।।।

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